चाहत !!!
चाहत¶
मेरा हर गीत ना समझ पाओ तो कोई बात नहीं,
मेरा हर अलफ़ाज़ समझ पाने की तुम्हारी चाहत काफी है ।
मेरी आवाज़ हर बार ना सुन पाओ तो कोई बात नहीं,
मेरी हर धड़कन में समाने की तुम्हारी चाहत काफी है ।
मेरा हर कोई ना दे पाए साथ तो कोई बात नहीं,
मेरा हर पल साथ देने की तुम्हारी चाहत काफी है ।
-अंकित